“उत्तम मार्दव विनय प्रकाशें,नानाभेद ज्ञान सब भासें”

“उत्तम मार्दव विनय प्रकाशें,नानाभेद ज्ञान सब भासें”
● कम खाना और नम जाना: पूज्य गुरुमां
●बुद्धिमान और चारित्रवान व्यक्ति संसार मे पूज्य होता हैं: गणिनी आर्यिका
●अहंकार आत्मा का स्वभाव नहीं: जैन आर्यिका
●अहंकार को छोड़ सहकार को धारण करो:विभाश्री माताजी

● आज (2 सितम्बर) मनाया जाएगा गणिनि आर्यिका विभाश्री माताजी का 48वाँ जन्म दिवस महोत्सव
●अवतरण दिवस के अवसर पर होंगे विविध धार्मिक आयोजन

झाँसी: पर्वराज पर्युषण के द्वितीय दिवस उत्तम मार्दव धर्म के विषय पर उपदेश देते हुए पूज्य गुरुमां गणिनी आर्यिका विभाश्री माताजी ने गांधी रोड स्थित श्री दिगम्बर जैन पंचायती बड़ा मंदिर की धर्मसभा में कहा कि आत्मा के अंदर क्रोध,मान,माया,लोभ रूप गंदगी अनादिकाल से स्थापित हैं।जिस कारण आत्मगुण रूपी शीतल जल गंदा हो रहा हैं
‘कम खाना और नम जाना’ अगर आदमी कम खाएं तो शरीर बीमार न हो और नम जाए तो लड़ाई-झगड़े विवाद न हो।
संसार मे सर्वश्रेष्ठ बुद्धि होती हैं,बुद्धि के प्रभाव से बिना शरीर बल के भी बहुत सारे काम सिद्ध किये जाते हैं।बुद्धिमान और चारित्रवान व्यक्ति संसार में पूज्य होता हैं,और जो बुद्धिमान होता हैं वही चारित्रवान होता हैं।जिसकी बुद्धि गम खाती है और क्रोध पीती है वही अपने जीवन मे बुद्धिमान और चारित्रवान बनकर पूज्य प्रधान व सर्वश्रेष्ठ बनेगा।कर्मभूमि के मनुष्यों में मान (अहंकार) होता हैं,क्या बालक क्या युवा,क्या धनवान क्या दरिद्र,क्या स्त्री क्या पुरुष और क्या साधु क्या सन्त। सब के अंदर सबके अंदर अहंकार भरा हुआ हैं।जबकि आत्मा का स्वभाव अहंकार नही मृदु व सरल सहज होना हैं।परिवार में समाज में देश व दुनिया मे सभी लोगों में आपस मे सहकार व सहयोग की भावना होना चाहिए,अहंकार की भावना हमें एक दूसरे से दूर करती हैं।अगर आपको एक छोटा सा तिनका भी उठाना हैं तो दो उंगलियों का सहारा तो लेना ही पड़ेगा।संसार मे ऐसे बहुत से लोग है जो जीवन में दूसरों के अस्तित्व को नकारते हैं वो लोग हमेशा अकेले ही रहतें हैं।
इसके पूर्व श्रीजी के मस्तक पर शांतिधारा करने का सौभाग्य पंचायत के कनिष्ठ उपाध्यक्ष वरुण जैन, कोषाध्यक्ष जितेन्द्र चौधरी,संजय जैन अछरौनी,अमन जैन गुदरी,प्रदीप जैन,दिव्यांश जैन,दीपांक जैन महरौनी,गौतम जैन ‘सुपाड़ी’,वीरेन्द्र चौधरी को प्राप्त हुआ
श्रीमति रागिनी जैन विनय जैन ‘बड़कुल’ रानीपुर वाले एवं मेघा जैन, दिव्या जैन को पूज्य माताजी के पाद-प्रक्षालन कर कर-कमलों में शास्त्र भेंट करने का अवसर प्राप्त हुआ
इस अवसर पर चातुर्मास के मुख्य संयोजक राजीव जैन ‘सिर्स’,पंचायत अध्यक्ष अजित कुमार जैन,उत्तरांचल तीर्थ कमेटी के महामंत्री प्रवीण जैन पत्रकार,वरिष्ठ उपाध्यक्ष सुभाष जैन ‘बिजली वाले’,महामंत्री कमल जैन,ऑडिटर राजकुमार भण्डारी,बड़ा मंदिर मंत्री सुनील जैनको,करगुंवा मंत्री सिंघई संजय जैन,मनोनीत सदस्य सुशील टडैया,विजय जैन पंचकुइयां, मनोज सिंघई,सुरेन्द्र सर्राफ,अलंकार जैन,अंकित सर्राफ,संयोग भण्डारी,श्रीमति राखी जैन विश्वपरिवार, बबली जैन,आकृति जैन,श्वेता जैनम आदि उपस्थित रहें।
कार्यक्रम का संचालन करते हुए सौरभ जैन ‘सर्वज्ञ’ ने बताया आज 2सितंबर को पूज्य गणिनी आर्यिकारत्न विभाश्री माताजी का जन्मदिवस अवतरण महोत्सव के रूप में उत्साह व उमंग के साथ भक्तिभाव पूर्वक मनाया जाएगा,गुरुभक्त परिवारों के द्वारा जन्मपर्व के अवसर पर पाद प्रक्षालन, जिनवाणी भेंट व विशेष पूजन सम्पन्न होगी।
कार्यक्रम के अंत मे मनोनीत सदस्य गौरव जैन नीम ‘बीड़ी वाले’ ने आभार व्यक्त किया।

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