मोदी सरकार ने किया इन 6 यूट्यूब चैनल का काम तमाम, लाखों सब्सक्राइबर्स लेकिन काम फर्जी

 

केंद्र सरकार ने अब एक बार फिर YouTube चैनलों पर शिकंजा कसा है. केंद्र की ओर से YouTube चैनलों पर बड़ी कार्रवाई करते हुए उसे बैन कर दिया है. इसमें 6 यूट्यूब चैनल शामिल हैं. पिछले साल 2022 में भी सरकार ने 22 यूट्यूब चैनलों को बैन किया था. बताया जा रहा है कि, सरकार ने ये एक्शन इसलिए लिया क्योंकि वह फर्जी खबर दिखा रहे थे. सूचना प्रसारण मंत्रालय के मुताबिक, ये सभी चैनल गलत खबरों और सूचनाओं का प्रसार कर रहे थे.आपको बता दें, सरकार पहले से ही फर्जी खबर चलाने वाले यूट्यूब चैनल्स को बंद करने की बात कर रही थी. आपको बता दें, सरकार ने उस वक्त कहा था कि, यूट्यूब से विभिन्न लोक कल्याणकारी पहलों के बारे में झूठे और सनसनीखेज दावे करने और फर्जी खबरें फैलाने के लिए तीन चैनलों पर रोक लगाई जाएगी. इसके बाद PIB की फैक्ट चैक यूनिट ने तीन चैनलों को फर्जी खबरें फैलाने वाला चैनल घोषित किया था.इसमें एक बड़े मीडिया चैनल के नाम से भी YouTube चैनल था. सरकार ने स्पष्ट किया था कि ये चैनल बड़े मीडिया चैनल के नाम से फर्जी तरीके से बनाया गया है. जबकि असल ये ये YouTube चैनल उस आधिकारिक मीडिया का नहीं है. बताया जा रहा है कि, जिन यूट्यूब चैनलों को बैन किया गया है उनके वीडियो में ये दावा किया जा रहा था कि, मुख्य न्यायाधीश ने आदेश दिया है कि चुनाव अब बैलट पेपर से होंगे. जबकि ये खबर गलत है. वहीं, एक चैनल ने अपने वीडियो में दावा किया था कि, UP में 131 सीटों पर दोबारा चुनाव कराए जाएंगे. जबकि ऐसा कोई मामला कोर्ट में भी दर्ज नहीं किया गया है.इसके अलावा ये भी दावा किया गया था कि, चीफ जस्टिस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोद के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की है और उन्हें दोषि करार दिया है.

कैसे चलता था फर्जी खबरों का धंधा

आपको बता दें, ये फर्जी यूट्यूब चैनल बड़े-बड़े मीडिया हाउस के एंकरों की तस्वीर को थंबनेल पर इस्तेमाल कर वीडियो को चला रहे थे और लोगों को गुमराह कर रहे थे. ऐसे चैनलों के सबस्क्राइब लाखों में थे. समाचार एजेंसी ANI द्वारा जारी की गई बैन यूट्यूब चैनलों की लिस्ट में 6 चैनलों के नाम है. जिसके सबस्क्राइबर और व्यूज के बारे में बताया गया है.

चलिए हम इन यूट्यूब चैनलों के नाम और उनके सब्सक्राइबर के बारे में बताते हैं.

1. नेशनल टीवी (Nation TV)- सबस्क्राइबर 5.57 लाख

2. संवाद टीवी (Samvaad TV)- सबस्क्राइबर 10.9 लाख

3. सरोकार भारत (Sarokar Bharat)- सबस्क्राइबर 21.1 हजार

4. नेशन 24 (Nation 24)- सबस्क्राइबर 25.4 हजार

5. स्वर्णिम भारत (Swarnim Bharat)- सबस्क्राइबर 6.07 हजार

6. संवाद समाचार (Samvaad Samachar)- सबस्क्राइबर 3.84 लाख

 

गौरतलब है कि, इन सभी चैनलों के सबस्क्राइबर को जोड़ें तो 20.47 लाख हो जाते हैं. वहीं, इनसकी व्यूज 51 करोड़ से भी ज्यादा थी.

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